मोटिवेशनल कहानी
एक लड़का था जो एक ऑफ़िस मैं 8 घंटे की डूटी करता 9 – 5 की। मगर रोज 8 बजे office पहुँच जाता और देर रात तक काम करता रहता।
एक दिन एक साथी ने पूछा, क्यूँ ? इतना काम करते हो ? कोई ओवर टाइम तो मिलता नहीं।
वो बोला 8 घंटे डूटी तो सैलरी के लिया करता हूँ , बाक़ी के घंटे तरक़्क़ी, काम की बारीकी को सीखने और आगे बढ़ने के लिए करता हूँ।
काम घड़ी देख के मत करो । जब तक जिम्मेदारी पूरी ना हो तब तक करो।
शुभ दिन
एम के पाण्डेय निल्को
Managing Worker – VMW Team
| Research Scholar | छुट्टा आलोचक |
कलम, कैमरा और कम्प्यूटर | http://www.vmwteam.in
वाह बेहतरीन रचनाओं का संगम।एक से बढ़कर एक प्रस्तुति। विट्ठल विट्ठल विट्ठला हरी ॐ विठाला mp3 Download
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गुड
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